ये बात सब जानते है कि दिल्ली को चमकाने वाली कांग्रेस है , ब्रिज , मेट्रो और अन्य सुविधाए ये सब कांग्रेस की ही देन है लेकिन एक भाजपा – संघ के एक षड्यंत्रकारी देशभक्ति आन्दोलन और मीडिया मैनेजमेंट और बिना किसी शक के कांग्रेसी विधयाको और कांग्रेस का गुरूर घमंड और भ्रष्टाचार ने कांग्रेस को डूबा दिया
अरविन्द केजरीवाल और भाजपा ने दिल्ली और देश के लोगो को खूब मिलकर मुर्ख बनाया और कांग्रेस को बाहर का रास्ता दिखा दिया लेकिन अब आम आदमी पार्टी और भाजपा एक दुसरे के सामने खड़े है , दिखाने के लिए सही लेकिन इनका मकसद कांग्रेस को ही बाहर करना है
दिल्ली ,गुजरात , और हिमाचल चुनाव से अब तक एक बा बिलकुल साफ़ हो गई है कि मीडिया में आम आदमी पार्टी और भाजपा छाये हुए है , बाकी दल मीडिया की चर्चा से बिलकुल बाहर है यहाँ तक कि देश की सबसे बड़ी पार्टी कांग्रेस भी चर्चा से बाहर है
इन चुनावों के बीच में ई डी के छापे , शराब घोटाले ,फिर इसी बीच आम आदमी पार्टी के मनीष सिसोदिया के बेतुके ब्यान जिसमे कहा गया कि आम आदमी पार्टी के हर एम् एल ए को बीस बीस करोड़ का ऑफर दिया गया है , उन्हें मंत्री पद का ऑफर दिया गया है , इसी बीच भाजपा ने भी स्टिंग ऑपरेशन के बारे में बताया
लेकिन सबसे बड़ी बात कि इन दोनों पार्टी ने अभी तक किसी भी बात का सबूत पेश नहीं किया न तो आम आदमी ने ऐसा कोई सबूत दिया कि उनके एम् एल ए को किसने कब कैसे पैसे का ऑफर किया और न ही भाजपा ये बता पा रही है की किसका स्टिंग कब कहा कैसे हुआ और वह स्टिंग अपने आप में शक के घेरे में है यानी इस नौटंकी के जरिये ये लोग मीडिया में छाये हुए है
जिसका मकसद कांग्रेस को चुनाव से बाहर बताना है न कि जीतना
यह बात सनद रहे कि आम आदमी पार्टी ने सिर्फ कांग्रेस का सफाया किया है यानी दिल्ली में से कांग्रेस का सफाया किया , पंजाब से कांग्रेस का सफाया किया लेकिन उस जगह कुछ भी नहीं कर पाई जहा पर भाजपा स्ट्रोंग है गोवा हो गुजरात हो उत्तर प्रदेश हो आदि आदि
तो अब गुजरात और हिमाचल चुनाव में आम आदमी पार्टी केवल और केवल कांग्रेस की ही जगह को हडप लेगी
यानी आम आदमी और भाजपा एक ही थाली के चट्टे बट्टे है ऐसा राजनीती के जानकार बता रहे है क्योकि आम आदमी केवल और केवल कांग्रेस को ही नुक्सान पहुचा रही है
अब कांग्रेस के लिए एक वक्त है कि ये अपने आप को मजबूत कर ले क्योकि यही एक वक्त है जिसके जरिये ये लोग जनता में पहुच सकते है क्योकि कांग्रेस अब नहीं तो कभी नहीं , रही आम आदमी पार्टी की तो चाहे जो भी हो लेकिन भाजपा किसी भी सूरत में आम आदमी पार्टी को दिल्ली में नहीं आने देगी . जिसकी वजह यह होगी अगर भाजपा दिल्ली से बाहर होगी तो समझ लो केंद्र से भी बाहर होगी